एन. पी. आर., एन. आर. सी. एवं सी. ए. ए. के खिलाफ छत्तीसगढ़ राज्य समन्वय समिति का गठन
छत्तीसगढ़ पी.यू.सी.एल. के संयोजन में प्रदेश के 25 से अधिक जन संगठनों ने रविवार 15.03.2020 को सीएए, एनपीआर और एनआरसी के खिलाफ जन आंदोलन तेज करने का निर्णय लिया तथा “एन. पी. आर., एन. आर. सी. एवं सी. ए. ए. के खिलाफ छत्तीसगढ़ राज्य समन्वय समिति” (Chhattisgarh State Coordination Committee Against NPR, NRC & CAA) का गठन किया गया। सभा मे सम्मिलित सभी संगठनों के प्रतिनिधियों को समिति में शामिल किया गया है।
किन्ही कारणों से सभा मे सम्मिलित नहीं हो पाये अनेक सामाजिक, नागरिक और जन संगठनों ने भी समिति और इस जन आंदोलन में शामिल होने के लिए अपनी सहमति प्रदान की है।
वाय. एम. सी. ए. प्रोग्राम सेंटर, रायपुर मे आहूत सभा में निर्णय लिया गया कि 23 मार्च को शहीद भगत सिंह के पुण्य तिथि पर एक दिवसीय धरना, 26 को भारत बन्द का समर्थन और 1 अप्रेल को पूरे प्रदेश में जिला स्तर पर विरोध प्रदर्शन किया जाय । कई साथियों ने मुख्यमंत्री और राज्यपाल से मिलकर चर्चा करने और मांगपत्र सौंपने की बात भी रखी ।
सभा में चर्चा के दौरान राज्य सरकार से 6 मांगे उभर कर आई :
- छत्तीसगढ़ शासन के द्वारा राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर (NPR) पर जारी अधिसूचना को रद्द किया जाए।
- विधान सभा मे प्रस्ताव पारित किया जाए कि प्रदेश में NPR की कोई कार्यवाही नही होगी।
- छत्तीसगढ़ शासन यह घोषित करे कि जो लोग NPR में हिस्सा नहीं लेंगे उनके विरुद्ध आपराधिक कार्रवाई नही होगी।
- छत्तीसगढ़ शासन यह भी आश्वासन दे कि किसी भी शासकीय कर्मचारी और अधिकारी की जनगणना की ड्यूटी के दौरान NPR की जानकारी लेने को बाध्य नही करेगी।
- छत्तीसगढ़ शासन प्रदेश में किसी भी डिटेंशन सेंटर बनाने की अनुमति नही देगी।
- छत्तीसगढ़ शासन नागरिकता संशोधन कानून को असंवैधानिक ठहराने के लिए सर्वोच्च न्यायालय में याचिका दर्ज करेगी।
- NPR / NRC / CAA का लोकतांत्रिक तरीके से विरोध करने वाले व्यक्तियों और संगठनों के विरुद्ध छत्तीसगढ़ शासन के द्वारा कोई कानूनी / दंडात्मक कार्यवाही नही की जाएगी।