रमन सिंह के दामाद पर सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर बेरोजगारों से लाखों ऐंठने का आरोप , जांच शुरू
माधो सिंह की रिपोर्ट
रायपुर । कहने को तो वो शख्स पढ़ा-लिखा सरकारी ड़ॉक्टर है और उससे भी बड़ी बात ये कि वो एक ऐसे राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री का दामाद भी है, जिसने 15 साल तक एकछात्र एक राज्य पर राज किया है। लेकिन 2018 में जनता ने ससुर से मुख्यमंत्री का सिंहासन क्या खींचा, दामाद के हर रोज नये-नये कारनामे सामने आ रहे हैं। कारनामे भी ऐसे कि सुनकर लोगों के होश उड़े हुए हैं। कईयों को तो यकीन ही नहीं हो रहा है कि क्या किसी पूर्व मुख्यमंत्री का दामाद भी ऐसा कर सकता है, जबकि उसके पास रुपये, पैसे, गाड़ी, बंगला, नौकर-चाकर, शोहरत, रुतबे की कोई कमी नहीं थी, फिर नोट कमाने की ऐसी क्या भूख थी कि न अपनी इज्जत देखी न अपने ससुर की इज्जत बख्शी।
जिस डॉक्टर की यहां बात हो रही है वो कोई और नहीं बल्कि छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह के दामाद डॉक्टर पुनीत गुप्ता हैं, जिन पर रायपुर के दाऊ कल्याण सिंह सुपर स्पेशलियटी हॉस्पिटल में बेरोजगार युुवकों को सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर लाखों रुपये ऐंठने का संगीन आरोप लगा है। डीकेएस हॉस्पिटल में टेंडर और मशीनों की खरीदी के मामले में डॉक्टर पुनीत गुप्ता पहले से ही आरोपी हैं और जमानत पर चल रहे हैं, लेकिन सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी करने का नया आरोप सामने आया है।
जानकारी के मुताबिक डीके.सुपरस्पेशलिटी हॉस्पिटल में नर्सिंग और पैरामेडिकल स्टाफ की भर्ती के नाम पर बेरोजगारों से प्रति आवेदन 300 से 350 रुपए का बैंक ड्राफ्ट लिया गया था। अस्पताल प्रबंधन के पास हजारों की तादात में आवेदन पत्र जमा हुए थे।जिसमें बाद में नियत तिथि पर न तो इंटरव्यू आयोजित किये गये और न ही कोई लिखित परीक्षा ही आयोजित कराई गई।
ठगी के शिकार युवकों की शिकायत के आधार पर रायपुर पुलिस अधीक्षक ने आजाद चौक सीएसपी के नेतृत्व में 3 सदस्यीय टीम गठित की है, जो मामले में आवेदकों के साथ जांच में ठगी गईं रकम और उसके देनदारों के मामले से जुड़े उपलब्ध सूत्रों के आधार पर साक्ष्य इकट्ठा करेगी, ताकि पीड़ित बेरोजगारों के साथ न्याय किया जा सके।
छत्तीसगढ़ प्रदेश स्वास्थ नर्सिंग संगठन के अजय त्रिपाठी, दीपक मिश्रा, प्रद्युमन सिन्हा और अन्य पीड़ितों ने डॉ. पुनीत गुप्ता पर भर्ती की अनदेखी कर विज्ञापन नियमों को ताक पर रखते हुए मनमाने तरीके से नियुक्ति पत्र अपात्रों को बांटे जाने की शिकायत गोलबाजार थाने में दर्ज कराई है। जिसके आधार पर पुलिस जल्द ही पुनीत गुप्ता से पूछताछ की प्रक्रिया शुरू कर सकती है।