अबूझमाड़ की गर्भवती महिला का जवानों की मदद से जंगल पर हुआ प्रसव , महतारी एंबुलेंस की टीम ने दिया धोखा

मोहम्मद इमरान खान

नारायणपुर । नक्सल प्रभावित नारायणपुर जिले में जहां पुलिस पर फर्जी मुठभेड़ और ग्रामीणों पर अत्याचार करने के आरोप लगते रहे हैं। इसी बीच सुरक्षाबलों की सराहनीय पहल की खबर सामने आई है। अबूझमाड़ की गर्भवती महिला को जंगल में प्रसव करवाकर सोनपुर कैम्प के पुलिस और आइटीबीपी के जवानों ने ग्रामीणों का दिल जीत लिया है । पुलिस की संवेदनशीलता को देखकर ग्रामीण नक्सलियों के गढ़ में खाकी वर्दी वालों को सलाम कर रहे हैं।

सोनपुर कैम्प प्रभारी हरिनाथ रावत ने बताया कि बुधवार के दोपहर लगभग 12.30 बजे ग्राम ऐहनार निवासी सोनारु नुरेटी,जाति माड़िया पुलिस कैम्प सोनपुर आकर बताया कि उसके छोटे भाई की पत्नी सुकनी बाई गर्भवती है। बीती रात से प्रसव पीड़ा से कराह रही है। चूंकि ग्राम ऐहनार सोनपुर से लगभग सात किमी दूर अति संवेदनशील नक्सल प्रभावित अबूझमाड़ क्षेत्र में पहाड़ियों और घने जंगल में स्थित है,वहाँ तक पहुंचने का मार्ग बरसात में पूरी तरह खराब होने व जगह-जगह पेड़ गिरे होने से चारपहिया वाहन गांव तक नही पहुंच सकता । इसकी जानकारी आरआई दीपक साव को देकर 102 महतारी वाहन सोनपुर कैम्प तक भेजने की बात कर उक्त ग्रामीण को वापस गांव भेजकर गर्भवती महिला को तुरंत किसी भी साधन से सोनपुर कैम्प तक लेकर आने की समझाइश दिया गया।

उन्होंने बताया कि करीब एक घंटे बाद 102 महतारी एंबुलेंस वाहन सोनपुर कैम्प पहुंची लेकिन तब तक गर्भवती महिला को लेकर ग्रामीण कैम्प नही पहुंच पाये थे । कुछ ही देर में गर्भवती महिला को लेकर ग्रामीण पहुंच जाने की बात बताने के बावजूद 102 वाहन के स्टाफ गैर जिम्मेदाराना तरीके से मरीज के आने तक नही रुके व बिना मरीज लिये वापस नारायणपुर चले गये । इसके लगभग एक घंटे बाद गर्भवती महिला के परिजन कैम्प आकर बताये कि गांव से 6 किलोमीटर कावड़ में लाने के बाद महिला की स्थिति नाजुक होने पर वे लोग गर्भवती महिला को बेलगर नाला के पास लेकर आये हैं। वहाँ अधिक प्रसव पीड़ा होने से यहां तक नही ला पाये है। जिससे साथ में आई अन्य महिलाएं वहीं जंगल में प्रसव करा रही हैं । रावत ने बताया कि पूरी खबर सुनने के बाद गर्भवती महिला को किसी तरह कैम्प तक लाने आईटीबीपी के इंस्पेक्टर प्रमोद तिवारी, स्ट्रेचर, कैम्प के मेडिकल स्टाफ व पर्याप्त सुरक्षा बल व ग्रामीणों को साथ लेकर रवाना हुये । तब तक कैम्प से सूचना पाकर रामकृष्ण मिशन आश्रम, कुंदला स्वास्थ्य केन्द्र से जीप वाहन के साथ पहुंचे । जिसके बाद महिला स्वास्थ्य कर्मियों को भी अपने साथ लेकर रास्ता ठीक करते व पूरी सतर्कता बरतते किसी तरह सभी बेलगर नाला के पास पहुंचे। एसआई रावत ने बताया कि वहां का दृश्य किसी को भी झकझोर कर देने वाला था, नाला किनारे झाड़ियों में दो ग्रामीण महिलायें गर्भवती महिला को प्रसव कराने का प्रयास कर रहीं थी उनके पास न तो बिछाने के लिये कपड़े थे और न ही प्रसव कराने में लगने वाले अन्य जरूरत के कोई सामान। तुरंत रामकृष्ण मिशन आश्रम की महिला चिकित्सा कर्मी,आईटीबीपी के मेडिकल स्टाफ के सहयोग से जवानों के ग्राउंड शीट, कंबल एवं सीमित सामानों के साथ महिला का विपरित और कठिन परिस्थिति में भी सुरक्षित व सफल प्रसव कराया गया । महिला ने एक स्वस्थ बालक को जन्म दी, जच्चा-बच्चा दोनों स्वस्थ हैं।

प्रसव दौरान कपड़े की जरूरत पड़ने पर जवानों में से किसी ने अपना पहना टी शर्ट तो किसी ने अपना गमछा, रूमाल देकर सफल प्रसव कराने में सहयोग किये। सुरक्षित प्रसव बाद देर शाम महिला चिकित्सा कर्मियों के साथ जच्चा-बच्चा व परिजनों को जीप वाहन में रामकृष्ण मिशन आश्रम कुंदला रवाना किया गया । रामकृष्ण मिशन आश्रम कुंदला के महिला स्वास्थ्य कर्मियों के साथ पुलिस कैम्प सोनपुर के प्रभारी एसआई हरिनाथ रावत, आईटीबीपी के निरीक्षक प्रमोद तिवारी, मेडिकल स्टाफ, जिला बल व आईटीबीपी के जवानों ने अपने कर्तव्यों के अलावा मानवता का परिचय देते समय रहते न सिर्फ अतिसंवेदनशील स्थान में पहुंचे अपितु सफल प्रसव कराकर दो जिंदगी बचाने में अपनी अहम भूमिका अदा किये ।

“महातारी एंबुलेंस कर्मियों पर होगी कार्रवाई
गर्भवती महिला को लेने के लिए जिला मुख्यालय से सोनपुर गई एंबुलेंस महिला को लिए बगैर लौट आई । इसकी शिकायत मिलने पर संबंधित महतारी एंबुलेंस कर्मियों पर कार्रवाई करने के लिए पत्राचार किया जा रहा है। इस प्रकार की घटना बहुत ही दुखद है।
एआर गोटा, सीएमएचओ नारायणपुर

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